सीजी भास्कर, 16 सितंबर। छत्तीसगढ़ में लगातार हो रही बारिश से कई जिलों में नदियों और नालों का जलस्तर (Heavy Rainfall Update) अचानक बढ़ गया है। कवर्धा के घुमाछापर गांव के पास टमरू नाले में रेत से भरी एक ट्रैक्टर-ट्रॉली सोमवार को तेज बहाव में फंस गई। ट्रॉली में सवार सभी 7 मजदूर भी बह गए। सभी ने तैर कर अपनी जान बचा ली। स्थानीय ग्रामीणों की मदद से मजदूर सुरक्षित बाहर निकल पाए।
इसी बीच सूरजपुर ज़िले में आसमान से गिरी बिजली ने कहर बरपाया। पालकेवरा पंचायत में मोबाइल नंबर अपडेट कराने पहुंचे ग्रामीण आकाशीय बिजली की चपेट में आ गए। इस दौरान 7 लोग झुलस गए, जिनमें से एक युवक की मौत हो गई। बाकी छह घायलों में दो बच्चे भी शामिल हैं। घायलों को सोनहत सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया है, जहाँ उनका इलाज जारी है।
मौसम विभाग का अलर्ट
राजधानी रायपुर में मंगलवार सुबह से ही आसमान में बादल (Heavy Rainfall Update) छाए रहे और दोपहर बाद रुक-रुककर तेज बारिश होती रही। मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि –
आज राज्य के अधिकांश हिस्सों में गरज-चमक के साथ बिजली गिर सकती है और आंधी चल सकती है। केवल कोंडागांव, बस्तर, दंतेवाड़ा और सुकमा को अलर्ट से बाहर रखा गया है। हालांकि 17 सितंबर से मौसम में सुधार की संभावना जताई गई है।
बारिश और बाढ़ की स्थिति
पिछले 24 घंटे में रायपुर और रायगढ़ सहित कई जगहों पर हल्की से मध्यम बारिश दर्ज की गई। अब तक राज्य में औसतन 1033.2 मिमी बारिश हो चुकी है। बलरामपुर ज़िला सबसे आगे है जहाँ सामान्य से 51% अधिक (1399.8 मिमी) पानी बरसा है, जबकि बेमेतरा में अब तक 483.7 मिमी बारिश हुई है जो सामान्य से 50% कम है।
पिछले हफ्ते बस्तर संभाग में हुई मूसलाधार बारिश ने जनजीवन (Heavy Rainfall Update) अस्त-व्यस्त कर दिया। दंतेवाड़ा, बीजापुर, सुकमा और बस्तर जिलों में 200 से ज़्यादा घर ढह गए। 2000 से अधिक लोग राहत शिविरों में शिफ्ट किए गए। बारसूर में स्टेट हाईवे-5 का पुल टूट गया। जिससे नारायणपुर और आसपास के 50 से अधिक गांव प्रभावित हुए।
फिलहाल बारिश का असर धीरे-धीरे कम हो रहा है, लेकिन प्रभावित इलाकों में दिक्कतें अब भी बनी हुई हैं। प्रशासन राहत और पुनर्वास कार्यों पर फोकस कर रहा है।