सीजी भास्कर, 14 अक्टूबर। कोंडागांव पुलिस ने ऑनलाइन ठगी के एक बड़े नेटवर्क का खुलासा करते हुए दो म्यूल अकाउंट धारकों को गिरफ्तार किया है। पकड़े गए आरोपियों की पहचान यामिनी सोरी (21) और आदिल खान (24) के रूप में हुई है, जो दोनों जामकोटपारा के निवासी हैं। पुलिस जांच में सामने आया कि दोनों के खातों से कुल 51.32 लाख रुपए (Cyber Fraud Arrest) की संदिग्ध और अवैध लेनदेन हुई थी। आरोपियों ने पूछताछ के दौरान अपना अपराध स्वीकार किया, जिसके बाद उन्हें न्यायिक रिमांड पर जेल भेजा गया।
डीप नेटवर्क का सुराग डियन साइबर क्राइम सेंटर से मिला
इस मामले का खुलासा डियन साइबर क्राइम कोऑर्डिनेशन सेंटर (I4C) से मिली सूचना के बाद हुआ। जानकारी के आधार पर कोंडागांव साइबर सेल ने जांच शुरू की और पाया कि इंडियन ओवरसीज बैंक के एक खाते में देश के विभिन्न राज्यों से छह ऑनलाइन ठगी की शिकायतें दर्ज थीं।
पुलिस ने बैंक ट्रांजेक्शन ट्रेल और तकनीकी विश्लेषण के जरिए पता लगाया कि यामिनी और आदिल ने जल्दी पैसा कमाने के लालच में अपने खाते साइबर अपराधियों को इस्तेमाल के लिए दे दिए थे। इन खातों का उपयोग ठगे गए पैसों को ट्रांसफर करने और आगे भेजने के लिए किया जाता था।
म्यूल अकाउंट का जाल — साइबर अपराध की नई चाल
साइबर सुरक्षा विशेषज्ञों के अनुसार, म्यूल अकाउंट (Cyber Fraud Arrest) वह बैंक खाता होता है, जिसे अपराधी अवैध धन हस्तांतरण (money laundering) के लिए उपयोग करते हैं। इस नेटवर्क में शामिल व्यक्ति अपने बैंक खातों को कुछ कमीशन या इनाम के बदले अपराधियों के हवाले कर देते हैं। ऐसे खातों से पैसों का ट्रैक करना मुश्किल हो जाता है, जिससे साइबर अपराधी मुख्य साजिशकर्ता की पहचान छिपा लेते हैं।
कोंडागांव पुलिस ने बताया कि यामिनी और आदिल ने खुद का बैंक खाता अपराधियों को सौंपने की बात कबूल की है। पुलिस अब यह जांच कर रही है कि इन खातों से जुड़ा ठगी नेटवर्क किन अन्य राज्यों में सक्रिय था और इसके पीछे मास्टरमाइंड कौन हैं।
पुलिस की अपील और चेतावनी Cyber Fraud Arrest
पुलिस अधीक्षक कार्यालय की ओर से आम जनता को सावधान करते हुए कहा गया है कि —
किसी भी अनजान व्यक्ति, वेबसाइट या संस्था के झांसे में न आएं,
अपना बैंक खाता, पासवर्ड, एटीएम कार्ड या ओटीपी किसी को न बताएं,
किसी भी तेज़ लाभ या ऑनलाइन ऑफर के लालच में वित्तीय जानकारी साझा न करें।
कोंडागांव पुलिस ने लोगों से अपील की है कि किसी भी संदिग्ध गतिविधि की सूचना तुरंत साइबर सेल या नजदीकी थाने में दें।
Cyber Fraud Arrest कानून सख्त, और सख्त होगी कार्रवाई
पुलिस अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि म्यूल अकाउंट धारक भी साइबर अपराध के साझेदार माने जाएंगे और उनके खिलाफ आईटी एक्ट और मनी लॉन्ड्रिंग कानून के तहत सख्त कार्रवाई की जाएगी।
इस कार्रवाई से यह संदेश गया है कि ऑनलाइन ठगी के हर कड़ी को तोड़ने के लिए पुलिस अब तकनीकी और कानूनी दोनों मोर्चों पर सख्ती से काम कर रही है।