सीजी भास्कर, 14 नवंबर | Corporate Fraud Case : Audit में खुला खेल, कंपनी के खाते से 15 लाख निजी अकाउंट में गए—पुलिस ने घेराबंदी कर पकड़ा
रायपुर में सामने आए एक Corporate Fraud Case ने स्थानीय कारोबारी जगत को चौंका दिया है। करीब छह महीने से फरार चल रहा एक कंपनी मैनेजर आखिरकार पुलिस की गिरफ्त में आ गया। ऑडिट के दौरान कंपनी को पता चला कि लाखों का पेमेंट ग्राहकों से—लेकिन जमा हुआ सीधा उसके निजी खाते में।
Corporate Fraud Case: ऑडिट में पता चला 15 लाख का ट्रांसफर
शिकायत के मुताबिक, कंपनी से जुड़े शिवम भूटानी ने रिपोर्ट में बताया कि उरकुरा ब्रांच में तैनात मैनेजर संदीप कश्यप नियमित रूप से ग्राहकों से भुगतान लेता था, लेकिन रकम कंपनी के खाते में जाने की बजाय खुद के बैंक अकाउंट में जमा करा देता था।
कंपनी जब सालाना ऑडिट में पहुंची, तो ये पूरा fraud transaction सामने आ गया। बिना बिल जारी किए सामान बेचने और रकम गायब करने का आरोप भी उसी के नाम जुड़ गया।
Corporate Fraud Case: शिकायत के बाद पुलिस हुई सक्रिय
धोखाधड़ी का केस दर्ज होने के बाद खमतराई पुलिस लगातार आरोपी की लोकेशन खोज रही थी। कई जगह दबिश देने के बावजूद वह हाथ नहीं आ रहा था। बताया गया कि रकम हड़पने के तुरंत बाद वह अचानक घर-परिवार से भी दूरी बनाकर गायब हो गया था।
पुलिस अधिकारियों ने तकनीकी निगरानी और कुछ स्थानीय सूत्रों की मदद से उसकी गतिविधियों पर धीरे-धीरे पकड़ मजबूत की।
Corporate Fraud Case: घेराबंदी में दबोचा गया आरोपी मैनेजर
आखिरकार बीरगांव के कैलाश नगर इलाके में उसकी मौजूदगी की जानकारी मिली। टीम ने क्षेत्र की घेराबंदी की और बिना किसी विरोध के उसे गिरफ्तार कर लिया। पूछताछ में उसने अपने खिलाफ लगे आरोप स्वीकार कर लिए, जिसके बाद कोर्ट में पेश कर उसे न्यायिक रिमांड पर भेज दिया गया है।
आरोपी संदीप कुमार कश्यप (40) मूल रूप से उत्तर प्रदेश का रहने वाला है, लेकिन पिछले कुछ समय से उरकुरा में रह रहा था और वहीं से financial fraud को अंजाम दे रहा था।
