29 अप्रैल 2025 :
UP Politics News: भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय अध्यक्ष नरेश टिकैत का सोशल मीडिया पर एक वीडियो जमकर वायरल हो रहा है. जिसमें वह पहलगाम में हुई आतंकी घटना के बाद भारत सरकार द्वारा सिंधु नदी का पानी रोकने को लेकर अपना बयान देते नजर आ रहे है. बयान वायरल होने के बाद आज एक बार फिर चौधरी नरेश टिकैत अपने बयान को लेकर चर्चाओं में है.
उन्होंने पहलगाम हमले को लेकर कहा की, सरकार आतंकी घटनाओं से निपटने के लिए 6 महीने के लिए धार्मिक यात्राओं को बंद कर दें. अमरनाथ यात्रा, वैष्णो देवी यात्रा को तत्काल प्रभाव से बंद कर दिया जाए. जिससे वहां का रोजगार बेरोजगार हो जायेगा और फिर वो सबक लेकर सभी यात्रियों की सुरक्षा जिम्मेदारी लेंगे.
मेरे बयान को तोड़-मरोड़ कर पेश किया गया- नरेश टिकैत
बता दे की कल चौधरी नरेश टिकैत का एक वीडियो वायरल हुआ था. जिसमे नरेश टिकैत कह रहे हैं कि, नदी का पानी बंद करना हम सही नहीं मानते हैं. गलती कुछ लोग करते हैं और भुगताना लाखों लोगों को पड़ता है. नरेश टिकैत की इस वीडियो के वायरल होने के बाद आज जब मुजफ्फरनगर में मीडिया ने उनसे बात की तो उन्होंने सीधे-सीधे कहा कि, उनके बयान को तोड़-मरोड़ कर दिखाया गया है और अगर फिर भी कुछ बात किसी को महसूस हुई होगी तो हम उसके लिए खेद जताते हैं.
उन्होंने कहा कि, हम तो भारत के साथ हैं. नरेश टिकैत ने कहा कि हमने तो कहा था कि पानी पर सभी का अधिकार है. उसमें जीव जंतु भी है. पानी रोक कर बातचीत नहीं होनी चाहिए. वहां जो कुछ भी हुआ बहुत गलत हुआ और हम तो दिल से बहुत दुखी हैं. इतना बड़ा अन्याय हमने आज तक नहीं देखा. आतंकवादी समाज के विपरीत हैं. दिल तो उनके भी होगा, उन्हें भी सोचना चाहिए कि निर्दोष लोगों की हत्या की गई है. उनका उद्देश्य क्या है? गोली तो किसी को नहीं देखी उनका काम तो आतंक फैलाना है. वह पैदा ही इसलिए हुए हैं कि दहशत और आतंक फैलाएं. वह लोग धार्मिक यात्रा पर गए थे और उनकी हत्या कर दी. हमने तो हमेशा गलत का विरोध किया है.
पानी तो अनमोल रत्न है- नरेश टिकैत
नरेश टिकैत ने मीडिया से बातचीत में आगे बताया कि, सच बात तो ये है कि हमें तो उसका पता ही नहीं कहां से पानी निकल रहा है और कहां जा रहा है. पानी की सही कदर तो किसान जानता है. हमने तो यही कहा कि पशु, पक्षी, जानवर हर कोई पानी के बिना अधूरे हैं. पानी तो अनमोल रत्न है. इसकी कीमत किसान जानता है. मैंने तो कल इतनी सी बात कही थी लेकिन मेरी बात को तोड़-मरोड़ कर पेश कर दिया. जैसे कोई हम असामाजिक तत्व हो और देश के गद्दार हो. हमें तो बहुत शर्म महसूस हुई कि हमारी बातों को तोड़ मरोड़ कर पेश किया गया.
उन्होंने आगे कहा कि, मैंने बाद में खेद भी जताया कि हमें ऐसा नहीं कहना चाहिए था. मुंह से ऐसी बात निकल गई. किसी की भावनाओं को ठेस न पहुंचे, इसलिए हमने अपनी बात वापस ले ली. इस घटना के बाद पूरा भारत एक साथ है. सरकार एक अच्छा कदम उठाए सब साथ है. सरकार के साथ पूरा भारत खड़ा है.
आज सरकार के पास क्या सामान नहीं है, फिर इतनी देरी क्यों हो रही है. वहां कहीं ना कहीं कुछ ना कुछ चूक तो हुई है. कश्मीर में आतंकवाद कैसे और किसकी मदद से पनप रहा है? कौन सा देश इस आतंकवाद को बढ़ावा दे रहा है? जब भी इस तरह की घटनाएं होती हैं तो सभी की निगाहें पाकिस्तान की तरफ ही जाती है. इसलिए पाकिस्तान को आतंकवादी देश घोषित किया जाना चाहिए. जब ही उन्हें सबक मिलेगा. हम किसी मजहब के खिलाफ नहीं है.