सीजी भास्कर, 31 मार्च। हम तो दिहाड़ी मजदूर हैं… नहीं तुम करोड़पति हो, 16 करोड़ का टैक्स चुकाना होगा।
भागलपुर के दो दिहाड़ी मजदूर आयकर व जीएसटी विभाग की नजर में करोड़पति हैं। उन्हें टैक्स चुकाने का नोटिस भेजा गया है। विभाग ने उसे करोड़ों का व्यापार करने पर भी टैक्स नहीं चुकाने को लेकर तलब किया है। इस नोटिस से मजदूर परेशान हैं।
मजदूर विभागों के कार्यालय से लेकर थाने का चक्कर लगा रहे हैं। कहलगांव थाना क्षेत्र के रहने वाले चंदन कुमार को 19 मार्च को टैक्स की हेराफेरी करने का नोटिस आया. यह नोटिस आयकर विभाग और जीएसटी विभाग की तरफ से उन्हें भेजा गया था।
लेकिन कुछ दिनों तक चंदन इस नोटिस को समझ नहीं पाए. ज्यादा जानकारी के लिए इस नोटिस को उन्होंने पास के एक जानकार को दिखाया, तब उन्हें इसकी जानकारी मिली कि उन्हें टैक्स चुकाने का नोटिस भेजा गया है।
इसके बाद वह विभागों के कार्यालय का चक्कर लगाने लगे और अपने दस्तावेजों को लेकर वकीलों के पास पहुंचने लगे। वह कहलगांव थाना भी गए, लेकिन हमारे खबर लिखने तक मामला दर्ज नहीं किया गया है।
मजदूर को भेजा गया नोटिस : मजदूर चंदन ने बताया कि वह दिहाड़ी कर अपना पेट पालते हैं, लेकिन जो नोटिस उन्हें मिला है, उसके हिसाब से वह लोहे व स्क्रैप का कारोबार करते हैं। पास के रहने वाले मुकेश ने उनके पैन व आधार कार्ड की फोटो कॉपी ली थी, इसके कुछ दिन बाद गड़बड़ी हो गई।
16 करोड़ की टैक्स की हेराफेरी का नोटिस
कुछ इसी तरह कजरेली के रहने वाले सुबोध कुमार को भी 16 करोड़ की टैक्स की हेराफेरी का नोटिस मिला है। वो भी दिहाड़ी मजदूर हैं. उन्हें सिल्क के व्यापार में नोटिस दिया गया है।
वहीं कटिहार के बखिया बीरा दियारा के रत्तीलाल व कहलगांव दियारा के पास के रहने वाले वरुण दास को भी नोटिस मिला है। सभी का व्यापार विदेश से हुआ है और एनआरआई खाते में रकम जमा करवाई गई है। इसमें पैन और आधार कार्ड पीड़ितों का दिया गया, लेकिन ईमेल आईडी और फोन नंबर दूसरे का है, जिससे ओटीपी मांगकर रकम और व्यापार को दर्शाया गया है।
अधिकारियों को जानकारी मिली है कि चंदन अपने साथी के साथ मिलकर साझे का व्यापार करता है। इसी वजह से उन्हें नोटिस भेजा गया है, लेकिन पूरी सच्चाई क्या है यह तो जांच के बाद ही पता चलेगा, वहीं मजदूर चंदन ने बताया कि जिसने उसके दस्तावेज लिए हैं, उसी ने यह गड़बड़ी की है, मुझे तो इस सब के बारे में कुछ भी पता नहीं है।