सीजी भास्कर, 23 जून |
अमेरिका ने अपने नागरिकों के लिए एक ट्रैवल एडवाइजरी जारी की है। इसमें भारत के कुछ स्टेट ऐसे हैं जहां यात्रा न करने की सलाह दी गई है। वहीं नक्सल हिंसा के चलते कुछ राज्यों में यात्रा में सावधानी बरतने की भी एडवाइजरी है। इस कैटेगरी में छत्तीसगढ़ भी है।
ये एडवाइजरी अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने जारी की है। वहां के नागरिकों को बताया गया है कि भारत के कुछ राज्यों में हालात ठीक नहीं है, ऐसे में वहां यात्रा करते समय मंत्रालय को इसकी पूरी जानकारी देकर ही यात्रा करें। प्रदेश में अब इस मामले में सियासी बवाल भी शुरू हो चुका है।
इस पर भूपेश बघेल ने लिखा कि ये है अमृत काल? अमरीकी सरकार ने अपने नागरिकों के लिए भारत के 6 राज्यों में यात्रा न करने की चेतावनी जारी की है। इसमें हमारा छत्तीसगढ़ भी शामिल है। प्रधानमंत्री जी की अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से दोस्ती का ऐसा सिला?
इसके साथ ही कांग्रेस विधायक देवेंद्र यादव ने भी सरकार को घेरा है। उन्होंने कहा कि अमेरिकी एडवाइजरी में छत्तीसगढ़ का उल्लेख किया गया है। छत्तीसगढ़ में रायपुर के अलावा कहीं भी कोई जगह सेफ नहीं है बताया गया है। देश के साथ साथ प्रदेश का भी विश्व में डंका बज रहा है। घोर निंदनीय।
भाजपा कांग्रेस आमने-सामने, किसने क्या कहा-
- पूर्व कांग्रेस विधायक विकास उपाध्याय बोले- अमेरिकी विदेश विभाग की ट्रैवल एडवाइजरी में छत्तीसगढ़ को हाई रिस्क स्टेट के रूप में चिह्नित किया गया है। ये राज्य सरकार की विफलता का अंतरराष्ट्रीय प्रमाण है। ये केवल चेतावनी नहीं, बल्कि वैश्विक स्तर पर छत्तीसगढ़ की बदहाल कानून-व्यवस्था की पोल खोलने वाला दस्तावेज है।
- टीएस सिंहदेव ने लिखा- अमेरिका ने साफ़ कहा है कि भारत और खासकर छत्तीसगढ़ में महिलाएं अकेले यात्रा न करें। क्यों? क्योंकि बलात्कार, हिंसा और आतंकवाद बेकाबू हैं। “बेटी बचाओ” सिर्फ़ नारे और पोस्टर तक सीमित है। भाजपा सरकार की नाकामी ने भारत को अंतरराष्ट्रीय मंच पर शर्मिंदा किया है। हालात जल्द से जल्द सुधारे नहीं गए तो मोदी राज के ‘नए भारत’ को howdy और hugs के बावजूद सिर्फ चेतावनी और अपमान मिलता रहेगा।
कांग्रेस नेताओं के बयान पर बीजेपी का जवाब
- प्रदेश भाजपा के मीडिया प्रभारी अमित चिमनानी ने कहा- जैसे राहुल गांधी देश को बदनाम करने की साजिश रचते हैं, वैसे ही छत्तीसगढ़ के कांग्रेस नेता बड़ी ही बेशर्मी से अपने प्रदेशों को गलत तथ्य बताकर बदनाम कर रहे हैं। अमेरिका ने छत्तीसगढ़ को लेकर कहा है कि यहां जाएं तो जानकारी दें, ये नहीं कहा कि न जाएं। अपने ही प्रदेश को बदनाम करते हुए कांग्रेस पार्टी के नेताओं को शर्म नहीं आई।
क्या लिखा है अमेरिकी एडवाइजरी में
माओवादी चरमपंथी समूह, या “नक्सली”, भारत के एक बड़े क्षेत्र में सक्रिय हैं जो पूर्वी महाराष्ट्र और उत्तरी तेलंगाना से लेकर पश्चिमी पश्चिम बंगाल तक फैला हुआ है। छत्तीसगढ़ और झारखंड के ग्रामीण इलाकों में भारत सरकार के अधिकारियों पर हमले छिटपुट रूप से होते रहते हैं।
नक्सलियों ने स्थानीय पुलिस, अर्धसैनिक बलों और सरकारी अधिकारियों को निशाना बनाकर कई हमले किए हैं। खतरे की बदलती प्रकृति के कारण, भारत में काम करने वाले अमेरिकी सरकारी कर्मचारियों को इन राज्यों के अधिकांश क्षेत्रों में यात्रा करने से पहले अनुमति लेनी होगी।
इनमें बिहार, झारखंड, छत्तीसगढ़, पश्चिम बंगाल, मेघालय, ओडिशा हैं। अगर कर्मचारी केवल इन राज्यों की राजधानी की यात्रा कर रहे हैं तो अनुमति की आवश्यकता नहीं है।
भारत अमेरिका से बेहतर स्थिति में
कई देशों में हिंसा बढ़ रही है। हाल ही में सामने आई ‘ग्लोबल पीस इंडेक्स’ की साल 2025 की रिपोर्ट में पता चला है कि अमेरिका से इस मामले में भारत बेहतर स्थिति में है। इंस्टीट्यूट फॉर इकोनॉमिक्स एंड पीस (आईईपी) द्वारा जारी वैश्विक शांति सूचकांक (जीपीआई) 2025 में इसका जिक्र है। रिपोर्ट में बताया गया है कि भारत 115वें नंबर पर है जबकि अमेरिका 128वें पर।