सीजी भास्कर, 23 नवंबर। छत्तीसगढ़ के रायपुर में होने वाली डीजीपी कॉन्फ्रेंस (DGP Conference Raipur 2025) में देश भर के अफसर 26 और 27 नवंबर को फ्लाइट और सड़क मार्ग से रायपुर पहुंचेंगे। एसपी और एएसपी स्तर के अधिकारी सभी अफसरों को रिसीव करने के बाद अलग-अलग होटलों, नए रेस्ट हाउस और अन्य स्थानों में ठहराएंगे (Police Protocol Duty)। रुकने वाले स्थानों की सुरक्षा के लिए राज्य पुलिस और केंद्रीय सुरक्षा बल की 5 कंपनियों (500 जवान) की तैनाती की तैयारी पूरी है।
रायपुर में बड़े स्तर की सुरक्षा व्यवस्था लागू
28 से 30 नवंबर तक सम्मेलन स्थल पर सीआरपीएफ, आईबी, और स्थानीय पुलिस की तैनाती रहेगी (CRPF Deployment)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह की सुरक्षा की जिम्मेदारी एसपीजी संभालेगी (SPG Security)। कुल मिलाकर राज्य पुलिस, केंद्रीय सुरक्षा बल, इंटेलिजेंस, राजस्व खुफिया निदेशालय, सीबीआई और अन्य एजेंसियों के 550 अधिकारी इस कॉन्फ्रेंस में शामिल होंगे (DGP Meet Security)।
करीब 350 अधिकारी फिजिकली और 200 वर्चुअली बैठक से जुड़ेंगे। तीन दिवसीय सम्मेलन का उद्घाटन अमित शाह करेंगे और समापन में पीएम मोदी शामिल होंगे। एसपीजी की अडवांस टीम 25 नवंबर को रायपुर पहुंचेगी और एयरपोर्ट, सम्मेलन स्थल, रुकने के स्थान व संभावित मार्गों की सुरक्षा जांच करेगी।
रैंकिंग के अनुसार ठहरने की व्यवस्था
डीजीपी, आईजी, निज सचिव, सुरक्षा गार्ड, सहयोगियों और ड्राइवरों—सभी के लिए रैंकिंग के अनुसार अलग-अलग ठहरने की व्यवस्था की गई है (Accommodation Plan)। 26 से 30 नवंबर तक कई होटलों और भवनों को सुरक्षा कारणों से पूरी तरह रिजर्व कर दिया गया है।
अफसरों की ड्यूटी तय
सम्मेलन में आने वाले सभी आंगतुक अफसरों को एयरपोर्ट से रिसीव कर रुकने के स्थान और सम्मेलन स्थल तक पहुंचाने के लिए प्रोटोकॉल अधिकारी नियुक्त किए जा रहे हैं (Protocol Officer Duty)। हर डीजीपी और आईजी के लिए एक-एक अधिकारी की जिम्मेदारी तय होगी। जिलों से आईजी और एसपी का पूरा ब्योरा मांगा गया है, जिसके आधार पर ड्यूटी चार्ट तैयार किया जाएगा। IM में रह रहे 400 विद्यार्थियों को सम्मेलन के दौरान शिफ्ट किया जाएगा या नहीं—इस पर अभी असमंजस है। प्रबंधन व पुलिस के बीच चर्चा जारी है।
नई राजधानी में नो-फ्लाइंग ज़ोन
डीजीपी कॉन्फ्रेंस तथा पीएम–एचएम के प्रवास को देखते हुए 27 से 30 नवंबर तक नई राजधानी को नो फ्लाइंग ज़ोन घोषित किया जाएगा (No Drone Zone Raipur)। इस दौरान IIM और उसके 2 किमी दायरे में ड्रोन, हेलिकॉप्टर, एयरक्राफ्ट उड़ान पूरी तरह प्रतिबंधित रहेंगे। सम्मेलन स्थल के आसपास का क्षेत्र आम नागरिकों के लिए भी प्रतिबंधित रहेगा।
