सीजी भास्कर, 03 अक्टूबर। आठ साल का मासूम आकाश पटाखे की चपेट में आ गया। उसने पटाखे को मुंह में डालकर चबाना शुरू किया और अचानक जोरदार धमाका हो गया। उत्तर प्रदेश के बांदा जिले के एक गांव (Barokhar Khurd) में बुधवार शाम एक दिल दहला देने वाली घटना हुई। हादसा इतना गंभीर था कि उसका जबड़ा टूट गया और कई दांत बाहर आ गए। इलाज के दौरान रात में ही उसकी मौत हो गई। Firecracker Accident
Firecracker Accident
घटना उस समय हुई जब तीनों भाई दुर्गा प्रतिमा विसर्जन से लौटते हुए रास्ते में पटाखा उठाकर घर ले आए। शाम करीब आठ बजे उन्होंने उसे जलाने की कोशिश की, लेकिन वह फटा नहीं। इसी दौरान आकाश (8) मासूम जिज्ञासा में पटाखा दांत से तोड़ने लगा। तभी अचानक firecracker accident हुआ और उसका चेहरा लहूलुहान हो गया।
जबड़े की हड्डी टूटी, आंख में लगी चोट
धमाका इतना जोरदार था कि पूरा मोहल्ला दहल उठा। लोग घर से बाहर निकल आए। मौके पर पहुंचे तो देखा—आकाश खून से सना पड़ा है और बड़ा भाई सूरज (10) की आंख में भी चोट लगी है। बच्चे को तुरंत नजदीकी मेडिकल कॉलेज ले जाया गया। डॉक्टरों ने करीब दो घंटे तक आकाश को बचाने की कोशिश की, लेकिन रात दस बजे उसने दम तोड़ दिया। बड़ा भाई सूरज फिलहाल खतरे से बाहर है और उसे प्राथमिक उपचार के बाद घर भेज दिया गया।

परिवार पर टूटा दुखों का पहाड़ Firecracker Accident
घटना के समय माता-पिता घर पर नहीं थे। पड़ोसी ही दोनों बच्चों को अस्पताल लेकर भागे। जैसे ही आकाश के निधन की खबर गांव पहुंची, पूरे इलाके में मातम पसर गया। गांव के लोग परिवार को ढांढस बंधाने पहुंचे। ग्रामीणों का कहना है कि इस तरह की घटनाएं बच्चों को पटाखों से दूर रखने की कड़ी चेतावनी हैं।
Firecracker Accident पुलिस और प्रशासन की अपील
स्थानीय पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंप दिया। अधिकारियों ने अपील की है कि माता-पिता बच्चों को आतिशबाजी और पटाखों से दूर रखें। इस हादसे ने एक बार फिर साफ कर दिया कि firecracker danger बच्चों के लिए खेल नहीं, बल्कि जानलेवा साबित हो सकता है।