सीजी भास्कर, 15 सितंबर। छत्तीसगढ़ के शराब घोटाला मामले में पूर्व CM भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य बघेल की कस्टोडियल रिमांड सोमवार यानी आज खत्म हो रही है। ED की टीम चैतन्य को आज कोर्ट में पेश करेगी। साथ ही ED अपने दस्तावेजों के साथ चालान भी पेश करेगी। चैतन्य 18 जुलाई 2025 से जेल में बंद है और पिछले 2 महीने से कठिन परिस्थितियों में हैं।
जानकारी मिली है कि ACB-EOW की टीम भी चैतन्य से पूछताछ करने की तैयारी में है। इस मामले में EOW प्रोडक्शन वारंट जारी कराने के लिए स्पेशल कोर्ट में आवेदन करने वाली है। ऐसे में (Money Laundering) चैतन्य की मुश्किलें और बढ़ सकती हैं और कोर्ट में बहस और बढ़ सकती है।
दरअसल, शराब घोटाला और मनी लॉन्ड्रिंग केस में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने चैतन्य बघेल को आरोपी बनाया है। आरोप है कि इस घोटाले की रकम से चैतन्य को 16.70 करोड़ रुपए मिले। शराब घोटाले से मिली (Money Laundering) ब्लैक मनी को रियल एस्टेट प्रोजेक्ट्स में निवेश किया गया। ED के मुताबिक चैतन्य बघेल ने इस ब्लैक मनी को वाइट करने के लिए फर्जी निवेश दिखाए और सिंडिकेट के साथ मिलकर लगभग 1000 करोड़ रुपए की हेराफेरी की गई।
सूत्रों के अनुसार इस मामले में मुंगेली और रायपुर क्षेत्र के वित्तीय जांच में कई ठिकानों पर छापेमारी की गई। चौथे पैराग्राफ में यह भी सामने आया कि चैतन्य बघेल के विट्ठल ग्रीन प्रोजेक्ट (बघेल डेवलपर्स) में 13-15 करोड़ रुपए का वास्तविक निवेश हुआ, जबकि रिकॉर्ड में केवल 7.14 करोड़ रुपए दिखाए गए। डिजिटल डिवाइसेस की जांच में पता चला कि एक ठेकेदार को 4.2 करोड़ कैश पेमेंट की गई, जो रिकॉर्ड में गायब थी।
ED ने यह भी पाया कि त्रिलोक सिंह ढिल्लो ने 19 फ्लैट खरीदने के लिए 5 करोड़ बघेल डेवलपर्स को ट्रांसफर किए। ये फ्लैट कर्मचारियों के नाम पर खरीदे गए, लेकिन पेमेंट ढिल्लो ने खुद किया। यह पूरा लेन-देन 19 अक्टूबर 2020 को किया गया और इसका उद्देश्य (Money Laundering) पैसा छिपाकर चैतन्य बघेल तक पहुंचाना था। इस पूरे मामले में चैतन्य बघेल की मुश्किलें लगातार बढ़ रही हैं। ED और EOW दोनों ही जांचों में तेजी ला रही हैं और आने वाले दिनों में कोर्ट में बहस और नई परिस्थितियों को सामने ला सकती है।