सीजी भास्कर, 22 सितंबर। छत्तीसगढ़–महाराष्ट्र अंतरराज्यीय सीमा से लगे अबूझमाड़ इलाके में सोमवार को हुई भीषण मुठभेड़ (Naxal Encounter) में प्रतिबंधित माओवादी (Naxal Encounter) संगठन सीपीआइ (माओवादी) को बड़ा झटका लगा है। सुरक्षा बलों ने मुठभेड़ स्थल से संगठन की केंद्रीय समिति के दो वरिष्ठ माओवादी कैडरों के शव बरामद किए हैं, जिनकी पहचान राजू दादा उर्फ कट्टा रामचंद्र रेड्डी (63) और कोसा दादा उर्फ कादरी सत्यनारायण रेड्डी (67) के रूप में हुई है।
दोनों पर कई राज्यों को मिलाकर एक–एक करोड़ रुपये से अधिक का इनाम था। छत्तीसगढ़ सरकार की ओर से 40-40 लाख रुपये का इनाम घोषित किया गया था। इसके साथ ही इस वर्ष प्रदेश में हुई मुठभेड़ (Naxal Encounter) में छह शीर्ष माओवादी मारे गए हैं। इससे पहले माओवादी प्रमुख बसव राजू, चलपती, सुधाकर और माडेम बालकृष्ण मारे जा चुके हैं।
सुरक्षा बलों ने मुठभेड़ स्थल से एक एके-47 राइफल, एक इंसास राइफल, एक बीजीएल (बैरल ग्रेनेड लांचर), भारी मात्रा में विस्फोटक, माओवादी साहित्य और अन्य दैनिक उपयोग की वस्तुएं जब्त की हैं।
नारायणपुर के पुलिस अधीक्षक राबिन्सन ने बताया कि अबूझमाड़ क्षेत्र में माओवादियों (Naxal Encounter) की गतिविधियों की सूचना पर सोमवार सुबह से सुरक्षा बलों ने सर्च आपरेशन चलाया। इस दौरान माओवादियों और बलों के बीच रुक-रुक कर गोलाबारी हुई। अंततः दो वरिष्ठ माओवादी कैडरों के मारे जाने की पुष्टि हुई।
प्रारंभिक जानकारी के अनुसार, दोनों माओवादी नेता तीन दशकों से अधिक समय से दंडकारण्य विशेष क्षेत्रीय समिति में सक्रिय थे और अनेक बड़ी हिंसक घटनाओं के मास्टरमाइंड रहे हैं, जिनमें कई जवान शहीद हुए तथा निर्दोष नागरिकों की जानें गईं।
बस्तर रेंज के पुलिस महानिरीक्षक सुंदरराज पी. ने इस सफलता को संगठन (Naxal Encounter) के लिए बड़ा आघात बताया। उन्होंने कहा कि कठिन भौगोलिक परिस्थितियों और प्रतिकूल मौसम के बावजूद पुलिस और सुरक्षा बल पूरी निष्ठा और समर्पण के साथ सरकार और जनता की आकांक्षाओं के अनुरूप कार्य कर रहे हैं।
उन्होंने माओवादी कैडरों और उनके नेतृत्व से अपील की कि वे समझें कि अब माओवादी आंदोलन अपने अंत की ओर है। यह समय है कि वे हिंसा छोड़कर मुख्यधारा में लौटें और सरकार की आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति का लाभ उठाएं।