सीजी भास्कर, 08 मई : खाद्य विभाग ने प्रदेश भर की राशन दुकानों (PDS Ration Shop Audit) से पिछले तीन वर्षों (2022 से 2024 तक) का वितरण और भंडारण का पूरा हिसाब-किताब प्रस्तुत करने का आदेश जारी किया है। इस आदेश के बाद से ही ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में संचालित पीडीएस दुकानों में हलचल मच गई है।
राशन दुकानदारों (PDS Ration Shop Audit) का कहना है कि वे हर महीने का वितरण विवरण ऑनलाइन पोर्टल पर दर्ज करते हैं, फिर भी तीन साल का फिजिकल रिकॉर्ड रखना चुनौतीपूर्ण हो सकता है। दुकानदारों ने यह भी आरोप लगाया कि विभाग के जांच अधिकारी कभी भी बिना सूचना के दुकान पर पहुंच जाते हैं, जिससे उन्हें कामकाज में परेशानी होती है।
कलेक्टर को भी भेजनी होगी रिपोर्ट (PDS Ration Shop Audit)
खाद्य विभाग के निर्देश के अनुसार प्रत्येक जिला खाद्य अधिकारी को तीन साल की जांच रिपोर्ट तैयार कर कलेक्टर कार्यालय में सौंपनी होगी। इस रिपोर्ट में वितरित चावल, शक्कर, नमक और अन्य राशन सामग्रियों का विस्तृत विवरण शामिल रहेगा।
जानकारी के अनुसार खाद्य विभाग यह सुनिश्चित करना चाहता है कि राशन वितरण में किसी प्रकार की गड़बड़ी न हो रही हो। इसलिए अब 2022, 2023 और 2024 का पूरा विवरण दुकानों से मांगा जा रहा है।
कई दुकानदारों ने बताया कि ऑनलाइन पोर्टल में सारी जानकारी पहले से दर्ज है, तो फिर पुराने कागजात मांगने का औचित्य क्या है? इससे छोटे दुकानदारों पर अनावश्यक दबाव बढ़ेगा।