सीजी भास्कर, 03 नवंबर। छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) में लंबे इंतजार के बाद पुलिस कमिश्नर सिस्टम (Police Commissioner System) अब नए साल से लागू होने जा रहा है। राज्य सरकार ने संकेत दिए हैं कि 1 जनवरी 2026 से राजधानी रायपुर में यह व्यवस्था औपचारिक रूप से शुरू होगी। हालांकि, सभी प्रक्रियाएं पूरी होने के बावजूद कमिश्नर के नाम पर सहमति नहीं बन पाने के कारण फाइल फिलहाल ठंडे बस्ते में रख दी गई है। सूत्रों के मुताबिक, (CG News) विधानसभा के शीतकालीन सत्र में अध्यादेश लाकर इसे पारित करने की तैयारी चल रही है। इसके बाद राज्यपाल की स्वीकृति के साथ औपचारिक अधिसूचना जारी होगी।
राज्यपाल से ली जाएगी मंजूरी
सूत्रों का कहना है कि प्रस्ताव को राज्यपाल के पास भेजने की प्रक्रिया दिवाली और राज्योत्सव के कारण आगे नहीं बढ़ पाई। इसके अलावा प्रधानमंत्री के हालिया प्रवास और बिहार चुनाव के कारण प्रशासनिक व्यस्तता बनी रही। अब अनुमान है कि अध्यादेश पारित होने के बाद ही पुलिस कमिश्नर सिस्टम से जुड़े नाम, अधिकार, बल और कार्यक्षेत्र का अंतिम निर्धारण किया जाएगा।
सीएम विष्णुदेव साय ने की थी घोषणा
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस समारोह में रायपुर में पुलिस कमिश्नर सिस्टम लागू करने की घोषणा की थी। इसके बाद एडीजी प्रदीप गुप्ता की अध्यक्षता में एक उच्चस्तरीय समिति बनाई गई थी, जिसने सिस्टम लागू करने से जुड़ी रिपोर्ट सरकार को सौंप दी है। रिपोर्ट में बताया गया है कि यह व्यवस्था कानून-व्यवस्था और अपराध नियंत्रण को मजबूत करेगी।
अतिरिक्त बल की तैनाती की तैयारी
रायपुर जिले में मौजूदा अधिकारियों के साथ अतिरिक्त बल की तैनाती की योजना तैयार की गई है। इसके तहत 1 एसएसपी, 5 एएसपी, 8 डीएसपी और 800 जवानों को फील्ड में तैनात किया जाएगा। प्रस्ताव में ओडिशा, महाराष्ट्र और मध्यप्रदेश के (Police Commissioner System Models) का अध्ययन कर स्थानीय जरूरतों के अनुरूप सुधार जोड़े गए हैं।
सिस्टम के फायदे
विशेषज्ञों का मानना है कि यह व्यवस्था राजधानी में अपराधों पर नियंत्रण, भीड़ प्रबंधन और आपातकालीन स्थितियों में त्वरित कार्रवाई की दिशा में मील का पत्थर साबित होगी। नागरिकों को पुलिस सेवाओं तक आसान पहुंच और जवाबदेही बढ़ने की उम्मीद है। विधानसभा के शीतकालीन सत्र में अध्यादेश पारित होते ही राज्यपाल की मंजूरी के बाद (Police Commissioner System in Raipur) की अधिसूचना जारी की जाएगी। इसके साथ ही नामों पर मुहर लगने के बाद प्रशासनिक पुनर्गठन की प्रक्रिया शुरू होगी।
