सीजी भास्कर, 5 अगस्त 2025 : सड़क जाम के 24 वर्ष पुराने केस में बिहार में जहानाबाद व्यवहार न्यायालय ने सोमवार को अरवल के माले विधायक महानंद सिंह को न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया। जहानाबाद सदर थाने में महानंद सिंह पर केस हुआ था, जिसमें 2001 में एक बार जमानत लेने के बाद विधायक न्यायालय में कभी उपस्थित नहीं हुए। कोर्ट ने 2022 में विधायक को भगोड़ा घोषित कर दिया था।
सोमवार को विधायक समर्पण कर जमानत लेने आए, परंतु जहानाबाद अनुमंडलीय न्यायिक दंडाधिकारी अनीश कुमार की अदालत ने उनकी अर्जी खारिज करते हुए न्यायिक हिरासत में भेज दिया। कोर्ट के आदेश पर विधायक को मंडलकारा जहानाबाद भेजा गया। वर्ष 2001 में भाकपा माले के राष्ट्रीय महासचिव दीपांकर भट्टाचार्य की झारखंड में गिरफ्तारी हुई थी।
जिसके विरोध में सात मार्च 2001 को जहानाबाद में माले नेताओं व कार्यकर्ताओं ने सड़क जाम किया था, जिसका नेतृत्व महानंद सिंह ने किया था। तब महानंद सिंह पार्टी के सचिव थे। हवलदार शशिकांत पांडे के बयान पर सरकारी कार्य में बाधा डालने का केस दर्ज हुआ था, जिसमें महानंद सिंह समेत दो लोगों को नामजद किया गया था।
एक बार जमानत के बाद कोर्ट में उपस्थित होने के लिए अलग-अलग तिथियों में उनको समन, जमानती वारंट, गैर जमानती वारंट व कुर्की तक की गई थी। इसके बाद भी वह कोर्ट में उपस्थित नहीं हुए थे। भगोड़ा होने के कारण वह कानून की नजर में फरार थे।