राजधानी दिल्ली में प्रदूषण नियंत्रण को लेकर कार्रवाई तेज़ हो गई है। बीते 24 घंटों में शहरभर में चेकिंग के दौरान 11,776 से अधिक वाहनों पर नियमों के उल्लंघन का चालान (Vehicle Challan Delhi) काटा गया। विभिन्न सरकारी एजेंसियों ने मिलकर यह कार्रवाई व्यापक निगरानी अभियान के तहत की, ताकि प्रदूषण फैलाने वाले स्रोतों पर प्रभावी रोक लगाई जा सके।
पर्यावरण विभाग का मानना है कि शहर में हवा की गुणवत्ता सुधारने के लिए केवल अस्थायी कदम पर्याप्त नहीं हैं। विभाग की ओर से बताया गया कि वाहन चेकिंग, सड़क सफाई, धूल नियंत्रण और कचरा प्रबंधन पर एक साथ ध्यान दिया जा रहा है। यही वजह है कि इस सर्दी में वायु गुणवत्ता सूचकांक में पिछले वर्षों की तुलना में मामूली सुधार देखने को मिला है।
24 घंटे में 11,776 चालान
धूल नियंत्रण और कचरा हटाने पर जोर
शहर की सफाई और धूल हटाने के काम में नगर निगम एजेंसियों ने भी बड़ी भूमिका निभाई। पिछले 24 घंटों में 12,164.88 मीट्रिक टन से अधिक कचरा (Vehicle Challan Delhi) हटाया गया। इसके अलावा लगभग 2,068 किलोमीटर लंबी सड़कों की मशीनों से धुलाई हुई और 1,830 किलोमीटर क्षेत्र में पानी का छिड़काव किया गया। शहर के विभिन्न हिस्सों में 5,528 किलोमीटर दूरी तक एंटी-स्मॉग गन का उपयोग किया गया।
इसके साथ ही निर्माण स्थलों पर धूल नियंत्रण के लिए 160 एंटी-स्मॉग गन तैनात की गई हैं। कचरा प्रबंधन में भी प्रगति दर्ज की गई है। रिकॉर्ड बताता है कि 24 घंटे में औसतन 30,000 मीट्रिक टन पुराने कचरे का वैज्ञानिक तरीके से निपटान किया गया।
जनहित से जुड़ी शिकायतों पर भी तेजी से कार्यवाही हुई। ग्रीन ऐप, सोशल मीडिया और अन्य माध्यमों पर मिली 57 शिकायतों को निपटाया गया। वहीं, नियमों का उल्लंघन करने वाले मार्गों पर चल रहे ट्रकों को रोका गया और 542 वाहनों को वापस भेजा गया।
मॉनिटरिंग बढ़ने से ट्रैफिक व्यवस्था में भी सुधार की कोशिशें (Vehicle Challan Delhi) जारी हैं। शहर के 34 भीड़भाड़ वाले स्थानों पर यातायात को सुचारू बनाने के उपाय किए गए, ताकि वाहनों की आवाजाही बेहतर हो सके और प्रदूषण कम किया जा सके।
सरकार की ओर से नागरिकों से अपील की गई है कि नियमों का पालन करें और प्रदूषण नियंत्रण में सहयोग दें। अधिकारियों का कहना है कि हवा साफ रखना सामूहिक प्रयास है — केवल सरकारी तंत्र से यह लड़ाई नहीं जीती जा सकती।


