सीजी भास्कर, 11 अगस्त । बैंकों में घटते डिपॉजिट ने वित्त मंत्री को किया परेशान कर दिया है। इसके चलते वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सभी बैंकों को निर्देश दिए हैं कि वह कोर बैंकिंग पर ध्यान दें, साथ ही बैंकों में डिपॉजिट बढ़ाने के लिए ग्राहकों को प्रोत्साहित करें।
वित्त मंत्री ने कहा कि डिपॉजिट और कर्ज गाड़ी के दो पहिये हैं, डिपॉजिट में कमी आ रही है इसलिए बैंकों को इस ओर ज्यादा ध्यान देना पड़ेगा। इस मौके पर रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) के गवर्नर शक्तिकांत दास ने से भी कहा बैंक डिपॉजिट पर आकर्षक ब्याज दरें देकर इसमें इजाफा कर सकते हैं।
बैंक अगर अच्छी डिपॉजिट स्कीम लाएंगे तो लोग पैसा देंगे
आरबीआई सेंट्रल बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स की 609वीं बैठक के बाद वित्त मंत्री ने कहा कि बैंकों को कर्ज सिर्फ जरूरतमंदों को देना चाहिए। बैंक अगर अच्छी डिपॉजिट स्कीम लाएंगे तो लोग उनमें अपना पैसा डालेंगे। बैंक अपनी ब्याज दरें तय करने के लिए स्वतंत्र हैं। बैंक अपने कारोबार के हिसाब से उनमें कभी भी बदलाव कर सकते हैं। इससे पूर्व आरबीआई गवर्नर ने बैंकिंग सेक्टर में डिपॉजिट और कर्ज के आंकड़ों में आ रहे बदलाव को लेकर चिंता जताई थी। डिपॉजिट में कमी आने से चिंताएं बढ़ रही हैं, इस पोस्ट बजट मीटिंग में वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी भी मौजूद थे।
अनक्लेम्ड डिपॉजिट के लिए नॉमिनी बढ़ाने की व्यवस्था भी हुई
निर्मला सीतारमण ने कहा कि हमने बैंक अकाउंट और लाकर में पड़े अनक्लेम्ड डिपॉजिट के लिए नॉमिनी बढ़ाने की व्यवस्था भी की है. उन्होंने कहा कि शेयर मार्केट में रिटेल इनवेस्टर्स अब ज्यादा उतर रहे हैं, इसके चलते बैंकों में डिपॉजिट कम हुआ है। अगर बैंक भी आकर्षक स्कीम लेकर आएंगे तो निश्चित ही डिपॉजिट में इजाफा होगा।